मित्र दिवस पर कुछ उदगार
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मित्र होते हैं बड़ी हसीन बला ,इनका क्या बखान किया जाए ?
बिन कुंडली मिलाये तमाम जिन्दगी जो रिश्ता बाखूबी रिश्ता निभाए
अकेलेपन का ना होने दे एहसास हर रिश्ते का किरदार सदेव निभाए
जब रोने का जी करे आँखों को देखते ही झट से समझ जाए
माहोल को झट पलटा दे अश्रु भी नैनो का रास्ता भूल जाए
मित्र होते हैं बड़ी हसीन बला ,इनका क्या बखान किया जाए ?
हर उलझन ,पीड़ा का हल होता इनके पास ,तत्काल दे सुलझाये
जुबा तक बात आने से पहले ही हर समस्या का हल जेब में साथ रख कर लाये
मित्र होते हैं बड़ी हसीन बला ,इनका क्या बखान किया जाए ?
चेहरा देख पड़ लेते हाले -दिल पता नहीं यह जादू कहाँ से सीख कर आये ?
सुख -दुःख में होते शामिल बिंदास सब झट से यह हैं जान जाए
निभाते हैं यह अटूट रिश्ता दिलो -जान से बदले की ना कभी आस यह लगाये
मित्र होते हैं बड़ी हसीन बला ,इनका क्या बखान किया जाए ?
गर बताना पड़े दिल का मजबून तो वो क्या ही दोस्त कहलाये ?
--रोशी
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