सोमवार, 15 जुलाई 2024

 

 अभिजात्य वर्ग के लिए शरद काल मौज मस्ती का मौसम                                                                                  पीना -पिलाना ,घूमना -फिरना,शादी -व्याह,का है उपयुक्त मौसम
अलाव लगा कर बैठना तो अब फैशन बन चुका है उच्च वर्ग में
कड़कती ठण्ड में न्यूनतम लिबास बन चुका अहम् हिस्सा रईसों में
गरीब जो एक कथरी के लिए तड़पता है ,ऐंठ जाता जिसका शरीर बिन कपड़ों का
उच्च वर्ग बाट जोहता है इस शीत ऋतू का अपनी मस्ती ,शौक पूरा करने का
कितना विरोधाभास है हमारे इर्द- गिर्द फैला इस बहुरंगी समाज मे
रईसों के शौक ,जीने का नजरिया बेहद मार्मिक होता निम्न वर्ग में
सर्द हवा के कहर से दम तोड़ जाता है गरीब काश मिल जाए कुछ पहनने को
या मिल जाए कोई रैन-बसेरा ,अलाव थोड़ी जिन्दगी जीने को
--रोशी

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